ब्यूरो: पंजाब के बठिंडा में मिलिट्री स्टेशन की मेस में घुसकर खूनी 'खेल' खेलने वाले गनर देसाई मोहन को उम्रकैद की सजा सुनाई गई है। इसके अलावा उन्हें नौकरी से भी निकाल दिया गया है।
आपको बता दें कि 12 अप्रैल 2023 की रात को आरोपी ने अपनी इंसास राइफल से फायरिंग कर अपने 4 साथी सिपाहियों सागर बन्ने, कमलेश आर, संतोष नागराल और योगेश कुमार की हत्या कर दी थी।
एक जनरल कोर्ट मार्शल ने शनिवार को गुन्नार देसाई को सजा सुनाई, जिसने पहले झूठे बयान देकर हत्या की जांच कर रहे अधिकारियों को गुमराह किया था, लेकिन अपने ही शब्दों के जाल में फंसने के बाद संदेह के घेरे में आ गया। जांच करने पर पता चला कि गुन्नार देसाई ही कातिल है। उन्हें गिरफ्तार कर मुकदमा चलाया गया और अब डेढ़ साल बाद सजा सुनाई गई है। बठिंडा पुलिस ने मौके से 19 कारतूस बरामद किए थे आरोपी देसाई मोहन को हत्या के साथ-साथ हथियार और गोलियां चुराने का भी दोषी पाया गया।
कर्नल एस दुजेजा के नेतृत्व में जनरल कोर्ट मार्शल (जीसीएम) जनवरी से इस मामले की सुनवाई कर रहा था। आर्मी एक्ट 1925 के तहत सेना ने 4 सैन्यकर्मियों की हत्या के मामले को सिविल कोर्ट के अधिकार क्षेत्र से बाहर कर दिया था। अब आरोपी देसाई मोहन को उम्रकैद की सजा सुनाई गई है और नौकरी से बर्खास्त कर दिया गया है।